स्वयं से संवाद

जब लगे कि कोई नही इस जग में तुम्हारा
तो याद रखना कि सीधे खड़े होने के लिए सहारे को त्यागना आवश्यक है,

जब लगे कि ऊपरवाला भी तुम्हारे खिलाफ साज़िश कर रहा है
तब याद रखना कि वो मुक़ाबला सिर्फ बराबर वालों के साथ करता है,

जब लगे कि कुछ पाया नही इस जहान से तुमने
तब पूछना खुद से ” क्या कभी किसी को कुछ दिया था ? ”

और अगर लगे कि हुनर कम है तुमने
तब अपने एक ऐब को त्यागना और जानना की तुमसे हुनरमन्द कोई नही

– नैन्सी

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